हिंदू पंचाग में हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी यानी 14वें दिन मासिक शिवरात्रि के बारे में बताया गया है। इस दिन भगवान शिव की आराधना कर आप महावरदान की प्राप्ति कर सकते हैं। वहीं सावन मास में सावन कृष्ण पक्ष के 14वें दिन यानी सावन कृष्ण चतुर्दशी के दिन सावन शिवरात्रि मनायी जाती है।
सावन की शिवरात्रि को बहुत पवित्र माना जाता है। वहीं आज 06 अगस्त 2021, दिन शुक्रवार को देशभर में सावन शिवरात्रि की धूम मची हुई है। और शिवभक्तों ने गंगास्नान करके रात भर पैदल चलकर शिवालयों में अपने आराध्य शिव का अभिषेक किया और भगवान शिव से मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना की।
व्रत पारण का समय-
07 अगस्त, दिन शनिवार की सुबह 05 बजकर 46 मिनट से दोपहर 03 बजकर 45 मिनट तक है।
महत्व-
सावन शिवरात्रि का महत्व बहुत अधिक होता है।
इस दिन भोलेनाथ और माता पार्वती की पूजा- अर्चना करने से सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं।
शिव पूजा- सामग्री
पुष्प, पंच फल पंच मेवा, रत्न, सोना, चांदी, दक्षिणा, पूजा के बर्तन, कुशासन, दही, शुद्ध देशी घी, शहद, गंगा जल, पवित्र जल, पंच रस, इत्र, गंध रोली, मौली जनेऊ, पंच मिष्ठान्न, बिल्वपत्र, धतूरा, भांग, बेर, आम्र मंजरी, जौ की बालें,तुलसी दल, मंदार पुष्प, गाय का कच्चा दूध, ईख का रस, कपूर, धूप, दीप, रूई, मलयागिरी, चंदन, शिव व मां पार्वती की श्रृंगार की सामग्री आदि।