दुनिया के लगभग हर देश में अपने टीचर्स के प्रति सम्मान और आदर को दर्शाने के लिए टीचर्स डे मनाने की परंपरा प्राचीन काल से चली आ रही है। भारत में भी 5 सितंबर को शिक्षक दिवस मनाया जाता है। महान शिक्षक सर्वपल्ली राधाकृष्णन की याद में हर साल 5 सितंबर को शिक्षक दिवस मनाते हैं। इस दिन बच्चे अपने टीचर्स से उनके प्यार, सीख और और केयर के लिए अलग-अलग तरीकों से आभार व्यक्त करते हैं। अधिकांश लोग विश्व शिक्षक दिवस के बारे में नहीं जानते हैं, इसलिए आज हम वर्ल्ड टीचर्स डे का इतिहास, इसे मनाए जाने की वजह के अलावा अन्य रोचक बातें बताने वाले हैं।
विश्व शिक्षक दिवस का इतिहास
विश्व शिक्षक दिवस 05 अक्टूबर को हर साल पूरी दुनिया में मनाया जाता है। विश्व शिक्षक दिवस की शुरुआत साल 1994 में हुई थी। संयुक्त राष्ट्र ने विश्व शिक्षक दिवस को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मनाने के लिए साल 1994 में यूनेस्को की सिफारिश पर लगभग 100 देशों के समर्थन देने के बाद इस बिल को पारित किया था। जिसके बाद से हर साल 05 अक्टूबर को इसके मनाए जाने की शुरुआत हो गई।
शिक्षक दिवस का महत्व
अंतर्राष्ट्रीय शिक्षक दिवस का उद्येश्य विश्व के शिक्षकों की सराहना, मूल्यांकन और सुधार पर लोगों का ध्यान केंद्रित करना है। इस दिन शिक्षण और शिक्षकों के मुलभूत मुद्दे पर चर्चा करने का अवसर मिलता है। इसके अलावा इस दिन विश्व के शिक्षकों की जिम्मेदारी, उनके अधिकार और आगे की शिक्षा के लिए उनकी तैयारी और मानक को महत्व दिया जाता है।