आगरा को इस समय अगर गैस चैंबर कहा जाए तो कोई गलत नहीं होगा, क्योंकि दिवाली के बाद से आगरा को धूल और धुएं की मोटी चादर ने अपने आगोश में ले लिया है। आज आगरा में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 480 के पार पहुंच चुका है। प्रदूषण के खतरनाक स्तर तक पहुंचने के बाद अब आगरा की हवा खराब हो गई है। ऐसे में जो सांस संबंधी बीमारी से पीड़ित हैं जैसे में बुजुर्ग और बच्चे वह इस वक्त ज्यादा से ज्यादा घर पर ही रहें। इन लोगों पर प्रदूषण का सबसे ज्यादा प्रभाव नजर आ रहे हैं। हाल यह है दूर-दूर तक धुंध के चलते कुछ नजर नहीं आ रहा है। कई किलोमीटर दूर से साफ नजर आने वाला ताजमहल आज कुछ सौ मीटर की दूरी से भी दिखाई नहीं दे रहा है।
ये प्रदूषण की चादर सुबह और शाम को ज्यादा मोटी नजर आती है। ऐसा लगता है जैसे पूरा शहर कोहरे में डूब गया हो। लेकिन आप को बता दें कि ये कोहरा नहीं बल्कि प्रदूषण की परत है। शहर में लगातार कई सारे बड़े-बड़े प्रोजेक्ट चल रहे हैं जिसमें स्मार्ट सिटी, मेट्रो, जल निगम और विकास कार्यों से जुड़े कई सारे अन्य प्रोजेक्ट भी शामिल हैं। 3 दिन से आगरा में प्रदूषण के चलते रेड जोन में है। प्रदूषण को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय कार्यालय से कई सारी संस्थाओं को नोटिस भी जारी किया जा चुका है लेकिन इससे फर्क नहीं पड़ रहा है।