अश्वगंधा का इस्तेमाल भारत में कई हजार सालों से ताकत और स्टेमिना के लिए हो रहा है। साथ ही आज के दौर में अश्वगंधा युवाओं के बीच भी काफी प्रचलित हो रहा है। जिम जाने वालों से लेकर योग करने वाले लोग भी अश्वगंधा को प्रयोग में लेते हैं। अश्वगंधा आज बाजार में उपलब्ध किसी अन्य सप्लीमेंट के मुकाबले अत्याधिक सुरक्षित और काफी उपयोगी है।
तनाव
अश्वगंधा को आमतौर पर तनाव कम करने वाला माना जाता है। इसे प्राकृतिक एडाप्टोजेन्स भी कहा जाता है। साथ ही यह तनाव को उत्पन्न करने वाले कोर्टिसोल हार्मोन को भी कम करने में भी मदद करता है।
ऐथलेटिक्स
अश्वगंधा को स्ट्रेथ ट्रैनिंग में भी उपयोगी पाया गया है। कई शोधों में पाया कि अश्वगंधा लेने से स्वस्थ वयस्कों और एथलीटों में अधिकतम ऑक्सीजन खपत (वीओ2 मैक्स) में काफी वृद्धि हुई है।
टेस्टोस्ट्रॉन
कुछ अध्ययनों में अश्वगंधा की खुराक को पुरुष प्रजनन क्षमता में लाभ और टेस्टोस्टेरोन के स्तर को बढ़ाने के लिए उपयोगी पाया गया है। साथ ही इससे सामान्य शुक्राणु संख्या वाले पुरुषों में शुक्राणु एकाग्रता और गतिशीलता में भी वृद्धि देखी गई है।
रक्त शर्करा
सीमित साक्ष्य बताते हैं कि मधुमेह या उच्च रक्त शर्करा के स्तर वाले लोगों के लिए अश्वगंधा के कुछ लाभ हो सकते हैं। अश्वगंधा में मौजूद कुछ यौगिकों - जिनमें विथेफेरिन ए (डब्ल्यूए) नामक यौगिक भी शामिल है - में शक्तिशाली एंटीडायबिटिक गतिविधि होती है और यह रक्तप्रवाह से ग्लूकोज लेने के लिए कोशिकाओं को उत्तेजित करने में मदद कर सकता है।