लखीमपुर खीरी घटना को लेकर सियासत गर्माने लगी है। यहां मृतक किसानों के परिजनों से मिलने पहुंची प्रियंका गांधी को पुलिस ने हिरासत में लिया है। वहीं सतीश चंद्र मिश्रा को भी लखनऊ आवास में नजरबंद कर लिया गया। इन्हीं के साथ पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के खीरी आने के ऐलान के बाद पुलिस ने उन्हें हाउस अरेस्ट कर लिया है। अखिलेश के आवास के बाहर पुलिस का पहरा लगा दिया गया है। इस मामले को लेकर केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे आशीष मिश्रा के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर लिया गया है। उधर, रालोद के राष्ट्रीय अध्यक्ष जयंत चौधरी ने भी सोमवार को लखीमपुर खीरी जाने का ऐलान कर दिया है। बता दें कि कृषि कानूनों और केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी की टिप्पणी का विरोध कर रहे किसानों और मंत्री के बेटे के बीच रविवार को हिंसक टकराव में आठ लोगों की मौत के बाद उत्तर प्रदेश में बवाल मचा हुआ है। इस घटना के बाद से किसान केंद्रीय राज्य मंत्री और उनके बेटे समेत सभी गुनहगारों के लिए सजा की मांग कर रहे हैं।
खीरी पहुंचे किसान नेता राकेश टिकैत
किसान नेता राकेश टिकैत भी खीरी पहुंच चुके हैं। वहां पहुंचकर उन्होंने कहा कि हम पहले किसानों और ग्रामीणों से मिलेंगे और उनके साथ स्थिति पर चर्चा करेंगे। ग्रामीणों और किसानों से चर्चा के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। उनका फैसला मान्य होगा। इस बीच यूथ कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीनिवास बीवी ने दावा किया है कि प्रियंका गांधी को हरगांव से गिरफ्तार किया गया। प्रियंका के अलावा कई और नेता भी आज लखीमपुर खीरी पहुंचने वाले हैं।
देशभर में होगा विरोध प्रदर्शन
गौरतलब है कि भारतीय किसान यूनियन ने लखीमपुर खीरी में हुई हिंसा पर चर्चा के लिए रविवार को मुजफ्फरनगर के सिसौली गांव में तत्काल एक पंचायत बुलाई और सोमवार को देश भर के हर जिले में विरोध प्रदर्शन करने का फैसला किया। पंचायत के दौरान, भाकियू ने संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा लिए गए निर्णय पर टिके रहने का भी संकल्प लिया, जो नवंबर 2020 से केंद्र के विवादास्पद कृषि कानूनों के विरोध का नेतृत्व कर रहा है। भाकियू के मीडिया प्रभारी धर्मेंद्र मलिक ने बताया कि यह फैसला राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत की अध्यक्षता में सिसौली गांव में हुई पंचायत में लिया गया।