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किसान आंदोलन के 100 दिन पूरे, कांग्रेस ने सरकार पर अत्याचार करने का लगाया आरोप

किसान आंदोलन के 100 दिन पूरे, कांग्रेस ने सरकार पर अत्याचार करने का लगाया आरोप

 

कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के आंदोलन के 100 दिन पूरा होने की पृष्ठभूमि में कांग्रेस ने शनिवार को सरकार पर अन्नदाताओं के साथ ‘अत्याचार करने’ का आरोप लगाया है। इसके साथ ही कांग्रेस ने दावा किया कि सरकार इस आंदोलन को सार्वजनिक विमर्श से गायब करने के लिए तरह-तरह के हथकंड़ों एवं षडयंत्र का सहारा ले रही है।

वहीं, मुख्य विपक्षी पार्टी ने देश के मध्यम वर्ग सहित समाज के विभिन्न तबकों से किसानों का समर्थन करने की अपील भी की। इसके अलावा कांग्रेस ने यह मांग फिर उठाई कि तीनों कानूनों को वापस लिया जाना चाहिए और इसके बाद किसान संगठनों से बातचीत कर नए कानूनों की पहल की जानी चाहिए।

पार्टी प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा, "किसानों के आंदोलन के 100 दिन हो गए। इन 100 दिनों में 250 से अधिक लोगों की मौत हुई। इस दौरान किसानों को अपमानित किया गया, लेकिन बड़ी संख्या में किसान अब भी बैठे हुए हैं। वे सरकार के उस फोन कॉल की प्रतीक्षा कर रहे हैं जिसका वादा प्रधानमंत्री ने किया था।"

उन्होंने दावा किया, "आंदोलन दिन प्रतिदिन बढ़ रहा है, लेकिन खबरों से गायब है। विमर्श के इस आंदोलन को गायब करने के लिए सरकार कई हथकंडे अपना रही है और षडयंत्र कर रही है।" खेड़ा ने कहा, "किसानों का समर्थन हमें इसलिए भी करना चाहिए क्योंकि वे उस काम को कर रहे हैं जो हम अपनी जिंदगी की आपा-धापी में नहीं कर पा रहे हैं। किसानों ने मध्यम वर्ग और सभी वर्गों के संघर्ष को सड़कों पर ला दिया है।"

उन्होंने कहा, "किसानों को सरकार से उम्मीद नहीं है, लेकिन देश से उम्मीद है। अगर लोग मौन समर्थन भी देंगे तो देश का बहुत भला होगा।" बता दें कि पिछले 100 दिनों से दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर कई किसान संगठन प्रदर्शन कर रहे हैं। उनकी मांग तीनों नए कृषि कानूनों को वापस लेने और न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी वाला कानून बनाने की है। 

यह भी पढ़ें- कांग्रेस की ही उपज थी कृषि कानून : अभय चौटाला


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