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भारत की वॉर्म वैक्सीन कोविड-19 के सभी वेरिएंट पर है प्रभावी, जानें

भारत की वॉर्म वैक्सीन कोविड-19 के सभी वेरिएंट पर है प्रभावी, जानें

 

इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ साइंस (आईआईएससी) और बायोटेक कंपनी मिनवैक्स द्वारा भारत में बनाई गई वॉर्म वैक्सीन कोविड-19 के सभी वेरिएंट पर प्रभावी है। सीएसआईआरओ की तरफ से कोरोना की वॉर्म वैक्सीन के स्वतंत्र रूप से किए गए विश्लेषण में यह बात सामने आई है। जानकारी के अनुसार, इस वैक्सीन को वॉर्म यानी गर्म इसलिए कहा जा रहा है कि यह 90 मिनट तक 100 डिग्री सेल्सियस तापमान पर भी सुरक्षित रह सकती है। जबकि ये वैक्सीन 37 डिग्री सेल्सियस पर स्थिर रहती है।

कोरोना वायरस की वॉर्म वैक्सीन बाकि वैक्सीन से अलग है, क्योंकि इसे रखने के लिए बहुत कम तापमान की जरूरत होती है। यह बात सीएसआईआरओ के द्वारा किए गए विश्लेषण में सामने आई है। सीएसआईआरओ के अनुसार, चूहों और हैमस्टर में वॉर्म वैक्सीन से वायरस के खिलाफ जबर्दस्त इम्यून रेस्पॉन्स पैदा हुआ। यह वैक्सीन कोविड-19 के स्पाइक प्रोटीन के एक हिस्से में किए गए बदलाव से बनी है।

- कोविड -19 की वॉर्म वैक्सीन का फॉर्मूलेशन 37 डिग्री सेंटीग्रेड पर 30 दिन तक स्थायी रह सकता है।

- फॉर्मूलेशन 100 डिग्री सेंटीग्रेड पर 90 मिनट तक रह सकता है।

- बहुत कम तापमान पर रहने की वजह से वैक्सीन के इस फॉर्मूलेशन को वॉर्म वैक्सीन का नाम दिया।

- बता दें कि अब तक कोविड-19 के लिए जो भी वैक्सीन आई हैं। उसे कहीं भी पहुंचाने के लिए कोल्ड चेन का निर्माण करना पड़ता है। क्योंकि कोरोना वैक्सीन के वहां तक पहुंचने में ज्यादा समय लगता है।

- कोरोना वायरस की वॉर्म वैक्सीन को बहुत ही आसानी से एक से दूसरे स्थान तक पहुंचाया जा सकता है।

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