होम
देश
दुनिया
राज्य
खेल
बिजनेस
मनोरंजन
सेहत
नॉलेज
फैशन/लाइफ स्टाइल
अध्यात्म

 

'मन की बात' में PM मोदी ने इन मुद्दों का जिक्र, पढ़े सम्बोधन की सारी बातें

'मन की बात' में PM मोदी ने इन मुद्दों का जिक्र, पढ़े सम्बोधन की सारी बातें

 

देश में जारी कोरोना वायरस के कहर के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' के जरिए राष्ट्र को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने कोरोना संकट, योग और प्रवासी श्रमिकों समेत कई मुद्दों का जिक्र किया। रविवार को 'मन की बात' के जरिए देश को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि देश में सभी के सामूहिक प्रयासों से कोरोना के खिलाफ लड़ाई बड़ी मजबूती से लड़ी जा रही है। उन्होंने कहा कि कोरोना के खिलाफ लड़ाई का रास्ता लंबा है। एक ऐसी आपदा जिसका पूरी दुनिया के पास कोई इलाज ही नहीं है, जिसका पहले का अनुभव ही नहींं है। तो ऐसे में नई-नई चुनौतियां और उसके कारण परेशानियां हम अनुभव कर रहे हैं। 

पीएम ने कहा, 'कोरोना संकट के बीच अब तमाम सावधानियों के साथ हवाई जहाज उड़ने लगे हैं। धीरे-धीरे उद्योग भी चलना शुरू हुए हैं यानी अर्थव्यवस्था का एक बड़ा हिस्सा अब चल पड़ा है। ऐसे में हमें और ज्यादा सतर्क रहने की आवश्कयकता है। इसके लिए हमें दो गज की दूरी का नियम हो, मुंह पर मास्क लगाने की बात हो, इन सारी बातों का पालन करना है।'

इस दौरान प्रधानमंत्री ने कहा कि देशवासियों की संकल्पशक्ति के साथ एक और शक्ति इस लड़ाई में हमारी सबसे बड़ी ताकत है और वो है- देशवासियों की सेवाशक्ति। उन्होंने कहा, 'पंजाब के पठानकोट से दिव्यांग भाई राजू ने दूसरों की मदद से जोड़ी गई छोटी से पुंजी से 3000 से अधिक मास्क बनाकर लोगों में बांटे और 100 परिवारों के लिए राशन जुटाया। सेवाभाव से लोगों की मदद कर रहे है ऐसे सभी लोगों की मैं प्रशंसा करता हूं,उनका तहे दिल से अभिनंदन करता हूं।' पीएम मोदी ने आगे कहा कि किसी भी परिस्थिति को बदलने के लिए इच्छाशक्ति के साथ ही, बहुत कुछ इनोवेशन पर भी निर्भर करता है। हजारों साल की मानव जाति की यात्रा लगातार इनोवेशन से ही इतने आधुनिक दौर में पहुंची है।

उन्होंने कहा, 'एक और बात जो मेरे मन को छू गई, वो है संकट की इस घड़ी में इनोवेशन, गांवों से लेकर शहरों तक छोटे व्यापारियों से लेकर स्टार्ट-अप तक, हमारी लैब्स कोरोना से लड़ाई में नए-नए तरीके इजाद कर रहे हैं, नए इनोवेशन कर रहे हैं।' मोदी ने कहा, 'हमारे रेलवे के साथी दिन-रात लगे हुए हैं। केंद्र हो, राज्य हो, स्थानीय स्वराज की संस्थाएं हो-हर कोई दिन रात मेहनत कर रहा है। जिस प्रकार रेलवे के कर्मचारी आज जुटे हुए हैं, वे भी एक प्रकार से अग्रिम पंक्ति में खड़े कोरोना वॉरियर्स ही हैं।'

प्रधानमंत्री ने कहा, 'देश में कहीं श्रमिकों की स्किल मैपिंग का काम हो रहा है, कहीं स्टार्ट-अप इस काम में जुटे हैं, कहीं माइग्रेशन कमीशन बनाने की बात हो रही है। साथ ही केंद्र सरकार ने अभी जो फैसले लिए हैं उससे गांवों में रोजगार, स्वरोजगार और लघु उद्योग से जुड़ी विशाल संभावनाएं खुली हैं।'

उन्होंने कहा, 'कुछ ही दिन पहले आयुष्मान भारत के लाभार्थियों की संख्या एक करोड़ के पार हो गई। अगर गरीबों को अस्पताल में भर्ती होने के बाद इलाज के लिए पैसे देने पड़ते, इनका मुफ्त इलाज नहीं होता तो एक मोटा-मोटा अंदाजा है ​कि उन्हें 14 हजार करोड़ रुपये से भी ज्यादा अपनी जेब से खर्च करने पड़ते। एक करोड़ लाभार्थियों में से 80 प्रतिशत लाभार्थी देश के ग्रामीण इलाकों के हैं। इनमें भी करीब 50 प्रतिशत लाभार्थी हमारी माताएं-बहनें और बेटियां हैं।' पीएम ने कहा, 'बहुत से लोगों ने ये बताया है कि उन्होंने, जो जो समान उनके इलाके में मिलते हैं, उनकी उन्होंने पूरी लिस्ट बना ली है। ये लोग अब लोकल प्रोडक्ट्स को ही खरीद रहे हैं और 'वोकल फॉर लोकल' को प्रमोट कर रहे हैं।' 

PM मोदी ने योग के महत्व का भी किया जिक्र 

वही, मन की बात कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना संकट से निपटने के लिए योग और आयुर्वेद के महत्व का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि भारत देश की इस धरोहर को विश्व के लोग बहुत गंभीरता और आशा भरी दृष्टि से देख रहे है। हॉलीवुड से हरिद्वार तक, घर में रहते हुए, लोग ‘योग’ पर बहुत गंभीरता से ध्यान दे रहे हैं। 

पीएम मोदी ने कहा, 'कोरोना संकट के इस दौर में मेरी विश्व के अनेक नेताओं से बातचीत हुई है, लेकिन, मैं एक राज की बात आज जरूर बताना चाहूंगा। विश्व के अनेक नेताओं की जब बातचीत होती है, तो मैंने देखा, इन दिनों, उनकी बहुत ज्यादा दिलचस्पी ‘योग’ और ‘आयुर्वेद’ के सम्बन्ध में होती है। कुछ नेताओं ने मुझसे पूछा कि कोरोना के इस काल में, ‘योग’ और ‘आयुर्वेद’ कैसे मदद कर सकते हैं।'

उन्होंने कहा, 'अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस’ जल्द ही आने वाला है। ‘योग’ जैसे-जैसे लोगों के जीवन से जुड़ रहा है, लोगों में अपने स्वास्थ्य को लेकर जागरूकता भी लगातार बढ़ रही है। कोरोना संकट के दौरान भी ये देखा जा रहा है कि हॉलीवुड से हरिद्वार तक, घर में रहते हुए लोग ‘योग’ पर बहुत गंभीरता से ध्यान दे रहे हैं। हर जगह लोगों ने ‘योग’ और उसके साथ-साथ ‘आयुर्वेद’ के बारे में  और ज्यादा जानना चाहा है, उसे अपनाना चाहा है।' 

कोरोना वायरस से गरीब एवं श्रमिक बुरी तरह हुए हैं प्रभावित : मोदी 

वही, कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई के लंबा चलने का संकेत देने के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अर्थव्यवस्था के बड़े हिस्से के खुल जाने के कारण देशवासियों से कोरोना वायरस संक्रमण से बचने के लिए पहले से अधिक सतर्क रहने की रविवार को अपील की। उन्होंने साथ ही कहा कि इस संक्रमण से गरीब और श्रमिक सबसे ज्यादा बुरी तरह प्रभावित हुए हैं। ‘मन की बात’ कार्यक्रम में प्रधानमंत्री ने कहा, 'समाज का कोई भी वर्ग ऐसा नहीं है, जो कोविड-19 संक्रमण से प्रभावित नहीं हुआ है, लेकिन गरीब एवं श्रमिक सबसे ज्यादा बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।'

उन्होंने देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा, 'अर्थव्यवस्था का बड़ा हिस्सा अब खुल गया है, इसलिए अब और अधिक सतर्क रहना महत्वपूर्ण हो गया है।' उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के खिलाफ भारत की लड़ाई देश के लोगों के नेतृत्व में लड़ी जा रही है और इस लड़ाई में देश की ‘सेवा शक्ति’ नजर आ रही है। मोदी ने कहा, 'कोरोना वायरस के खिलाफ जंग में हमारे नागरिकों की कुछ नया करने की भावना जोश भर रही है।'

उन्होंने कहा, 'आगे की डगर लंबी है, हम ऐसी वैश्विक महामारी से लड़ रहे हैं, जिसके बारे में पहले से बहुत कम जानकारी है।' मोदी ने चक्रवात अम्फान के कारण बुरी तरह प्रभावित हुए ओडिशा एवं पश्चिम बंगाल की मदद के लिए उनके साथ खड़े रहने की बात भी की। 

टिड्डी हमले पर बोले मोदी- सब मिलकर लेंगे लोहा 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में टिड्डियों के प्रकोप से किसानों को निजात दिलाने का भरोसा दिलाते हुए रविवार को अपने मन की बात मासिक रेडियो कार्यक्रम में कहा कि इस संकट से निपटने के लिए सब मिलकर लोहा लेंगे। पाकिस्तान के रास्ते देश की सीमा में घुस आए टिड्डी दल ने राजस्थान से लेकर मध्यप्रदेश तक कई राज्यों में कहर बरपाया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि एक तरफ जहां पूर्वी भारत तूफान की यातना का सामना कर रहा है वहीं दूसरी तरफ देश के कई हिस्से टिड्डियों या लोकस्ट के हमले से प्रभावित हुए हैं।

मोदी ने कहा, 'इन हमलों ने फिर हमें याद दिलाया है कि छोटा सा जीव कितना नुकसान करता है। टिड्डी दल का हमला कई दिनों तक चलता है और बहुत बड़े क्षेत्र पर इसका प्रभाव पड़ता है।' टिड्डियां करोड़ों की झुंड में चलती हैं और जहां से भी गुजरती हैं वहां की हरियाली को चट कर जाती हैं। इसलिए खरीफ सीजन की बुवाई जोर पकड़ने से पहले टिड्डियों के हमले से किसानों की चिंता बढ़ गई है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत सरकार हो, राज्य सरकार हो, कृषि विभाग हो या फिर प्रशासन सब इस संकट से निपटने और किसानों की मदद करने के लिए तत्पर हैं। इससे निपटने के लिए आधुनिक संसाधनों का उपयोग किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसके लिए नए-नए आविष्कार की तरफ भी ध्यान दिया जा रहा है। मोदी ने कहा, 'मुझे विश्वास है कि हम सब मिलकर हमारे कृषि क्षेत्र पर जो संकट आया है उससे लोहा लेंगे।'

यह भी पढ़ें- दिल्ली पुलिस के ASI की कोविड-19 के कारण मौत, प्रदेश में ये दूसरा मामला


संबंधित समाचार