कोरोना लॉकडाउन के दौरान उत्तर प्रदेश के बरेली में पलायन कर वापस आए मजदूरों को बीच सड़क पर बैठाकर उनके ऊपर सैनेटाइजर का छिड़काव करने का मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है। इस घटना के सामने आने के बाद विपक्ष ने इसे अमानवीय करार देते हुए योगी सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा, बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती और समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस घटना की कड़ी निंदा की है।
घटना को अमानवीय करार देते हुए प्रियंका गांधी ने कहा कि राज्य की बीजेपी सरकार को पहले से ही दुख-तकलीफों का सामना कर रहे कामगारों को रसायन से नहीं नहलाना चाहिए। प्रियंका ने ट्वीट कर लिखा, "यूपी सरकार से गुजारिश है कि हम सब मिलकर इस आपदा के खिलाफ लड़ रहे हैं लेकिन कृपा करके ऐसे अमानवीय काम मत करिए। मजदूरों ने पहले से ही बहुत दुख झेल लिए हैं। उनको केमिकल डाल कर इस तरह नहलाइए मत। इससे उनका बचाव नहीं होगा बल्कि उनकी सेहत के लिए और खतरे पैदा हो जाएंगे।"
यूपी सरकार से गुजारिश है कि हम सब मिलकर इस आपदा के खिलाफ लड़ रहे हैं लेकिन कृपा करके ऐसे अमानवीय काम मत करिए।
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) March 30, 2020
मजदूरों ने पहले से ही बहुत दुख झेल लिए हैं। उनको केमिकल डाल कर इस तरह नहलाइए मत। इससे उनका बचाव नहीं होगा बल्कि उनकी सेहत के लिए और खतरे पैदा हो जाएंगे। pic.twitter.com/ftovaFHR5q
वही, बसपा प्रमुख मायावती ने ट्वीट कर लिखा, "देश में जारी जबर्दस्त लाॅकडाउन के दौरान जनउपेक्षा व जुल्म-ज्यादती की अनेकों तस्वीरें मीडिया में आम हैं परन्तु प्रवासी मजदूरों पर यूपी के बरेली में कीटनााशक दवा का छिड़काव करके उन्हें दण्डित करना क्रूरता व अमानीवयता है जिसकी जितनी भी निन्दा की जाए कम है। सरकार तुरन्त ध्यान दे।"
एक अन्य ट्वीट में मायावती ने लिखा, "बेहतर होता कि केन्द्र सरकार राज्यों का बाॅर्डर सील करके हजारों प्रवासी मजदूरों के परिवारों को बेआसरा व बेसहारा भूखा-प्यासा छोड़ देने के बजाए दो-चार विशेष ट्रेनें चलाकर इन्हें इनके घर तक जाने की मजबूरी को थोड़ा आसान कर देती।"
2. बेहतर होता कि केन्द्र सरकार राज्यों का बाॅर्डर सील करके हजारों प्रवासी मजदूरों के परिवारों को बेआसरा व बेसहारा भूखा-प्यासा छोड़ देने के बजाए दो-चार विशेष ट्रेनें चलाकर इन्हें इनके घर तक जाने की मजबूरी को थोड़ा आसान कर देती।
— Mayawati (@Mayawati) March 30, 2020
इसके अलावा सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर सवाल खड़े करते हुए कहा, "यात्रियों पर सेनिटाइज़ेशन के लिए किए गए केमिकल छिड़काव से उठे कुछ सवाल, क्या इसके लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन के निर्देश हैं? केमिकल से हो रही जलन का क्या इलाज है? भीगे लोगों के कपड़े बदलने की क्या व्यवस्था है? साथ में भीगे खाने के सामान की क्या वैकल्पिक व्यवस्था है।"
यात्रियों पर सेनिटाइज़ेशन के लिए किए गए केमिकल छिड़काव से उठे कुछ सवाल:
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 30, 2020
- क्या इसके लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन के निर्देश हैं?
- केमिकल से हो रही जलन का क्या इलाज है?
- भीगे लोगों के कपड़े बदलने की क्या व्यवस्था है?
- साथ में भीगे खाने के सामान की क्या वैकल्पिक व्यवस्था है? pic.twitter.com/Wgqh8Ntkky
दरअसल, कोरोना वायरस के चलते किए लॉकडाउन के बाद दिल्ली से पलायन कर बरेली पहुंचे मजदूरों पर सैनिटाइजर से छिड़काव किया गया। पुलिस अधिकारियों ने सभी लोगों को रोड पर बैठकर सोडियम हाईपोक्लोराइड युक्त पानी से नहलाया। इस दौरान उस भीड़ में मौजूद बच्चे रोने लगे, वहीं कुछ लोगों ने आंखें में जलन होने की शिकायत भी की।
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