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शुभांशु शुक्ला ने गढ़ा इतिहास, बोले - आपका सीना भी गर्व से चौड़ा होना चाहिए

शुभांशु शुक्ला ने गढ़ा इतिहास, बोले - आपका सीना भी गर्व से चौड़ा होना चाहिए

 

Shubhanshu Shukla: वायुसेना के ग्रुप कैप्टन व भारतीय अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला ने आज यानी बुधवार को इतिहास रच दिया। वह 41 वर्ष पहले लगातार आठ दिन पृथ्वी के चक्कर लगाने वाले राकेश शर्मा के बाद अंतरिक्ष में रवाना होने वाले दूसरे भारतीय बन गए हैं। बता दें की ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने कहा कि नमस्कार, मेरे प्यारे देशवासियों! क्या सफर है! हम 41 साल बाद एक बार फिर अंतरिक्ष में वापस आ गए हैं। यह एक अद्भुत सफर है। हम 7.5 किलोमीटर प्रति सेकंड की रफ्तार से पृथ्वी की परिक्रमा कर रहे हैं। मेरे कंधों पर उभरा हुआ तिरंगा मुझे बताता है कि मैं आप सभी के साथ हूं। 

निदेशक डॉ. बीआर गुरुप्रसाद ने कहा

Axiom-4 मिशन लॉन्च पर जवाहरलाल नेहरू प्लेनेटेरियम के निदेशक डॉ. बीआर गुरुप्रसाद ने कहा कि यह बहुत महत्वपूर्ण है और सभी 140 करोड़ भारतीयों के लिए गर्व, खुशी और उत्साह की बात है क्योंकि शुभांशु इस मिशन में पायलट हैं। मिशन की कमांडर पैगी व्हिटसन हैं, जो नासा में व्यापक अनुभव वाली एक महिला हैं, जो अब एक निजी कंपनी AXIOM-4 में मानव अंतरिक्ष उड़ान निदेशक के रूप में काम कर रही हैं। अन्य दो चालक दल के सदस्य, पोलैंड से स्लावोज उज़्नान्स्की-विस्निएव्स्की और टिबोर हंगरी के कापू दोनों ही मिशन विशेषज्ञ हैं, यानी वे प्रयोग करते हैं। हालांकि, क्रू ड्रैगन अंतरिक्ष यान स्वचालित है, लेकिन पायलट और कमांडर के पास कई जिम्मेदारियां हैं।

भारतीय वायुसेना ने किया ट्वीट 

भारतीय वायुसेना ने ट्वीट किया, 'आसमान को जीतने से लेकर सितारों को छूने तक भारतीय वायुसेना के योद्धा की अदम्य भावना से प्रेरित एक यात्रा। ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला एक ऐतिहासिक अंतरिक्ष मिशन पर रवाना हुए, जो राष्ट्र के गौरव को पृथ्वी से परे ले जाएगा। यह भारत के लिए एक ऐसा क्षण है, जो स्क्वाड्रन लीडर राकेश शर्मा के मिशन के 41 साल बाद आया है, जिन्होंने पहली बार हमारे तिरंगे को पृथ्वी से परे ले जाया था। एक मिशन से कहीं अधिक होने के नाते, यह भारत के निरंतर विस्तारित क्षितिज की पुष्टि है।'
 


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