हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में करीब छह हजार होमगार्डों का मासिक मानदेय पांच हजार रुपये तक बढ़ाया जाएगा। इस संबंध में सरकार के वित्त विभाग ने राज्य गृह रक्षा विभाग को पत्र भेजा है। इसमें एक विस्तृत प्रस्ताव भेजने के आदेश दिया गया हैं। छठे वेतन आयोग के लागू होने के बाद से प्रदेश में पुलिस कांस्टेबलों का वेतन भी बढ़ा दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) का आदेश हैं कि होमगार्डों को भी पुलिस कांस्टेबलों के बराबर मासिक वेतन या मानदेय दिया जाए।
राज्य में गृहरक्षकों के फिलहाल छह हजार पद भरे गए हैं। इनमें से करीब 5,500 होमगार्ड पुलिस महकमे समेत विभिन्न विभागों में काम करते हैं। इन्हें नवनियुक्त पुलिस कांस्टेबलों के वेतन के साथ मिलान करने के बाद 675 रुपये की दिहाड़ी दी जा रही है। इसे भी सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद साल 2017 मे और बढ़ाया गया था। हालांकि, गृहरक्षक कई बार पुलिस कांस्टेबलों के बराबर वेतन और अन्य वित्तीय लाभ नहीं मिलने का मुद्दा उठाते आए हैं। मौजूदा प्रस्ताव के मुताबिक उनका मासिक मानदेय बढ़कर इस बार 25 हजार रुपये के आसपास होने की संभावना है।
गृह विभाग ने एक पत्र भेजकर किया आग्रह
सरकार के गृह विभाग ने एक पत्र भेजकर मानदेय बढ़ाने का आग्रह किया है, लेकिन वित्त विभाग ने इसकी पूरी फाइल की मांग की है। वित्त विभाग ने गृहरक्षकों की कुल संख्या की रिपोर्ट मांगी है। विभाग ने विवरण मांगा है कि इनमें किस जिले में कितने होमगार्ड नियुक्त किए गए हैं।
बता दें कि इससे पहले प्रदेश सरकार ने पुलिस कांस्टेबलों को क्लर्कों और अन्य समकक्ष श्रेणियों की तर्ज पर पे बैंड और ग्रेड पे के वित्तीय लाभ देने का फैसला किया था। बीते बुधवार को वित्त विभाग ने पुलिस कांस्टेबलों की संशोधित पे बैंड देने की मांग को स्वीकर करते हुए उन्हें बड़ी राहत दी। इसकी अधिसूचना अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त प्रबोध सक्सेना ने बुधवार को जारी कर की थी।
इससे पहले पुलिस कांस्टेबलों को ये लाभ आठ साल पूरे होने के बाद मिलते थे। अधिसूचना के अनुसार, अब कांस्टेबलों को प्रवेश स्तर पर ही 5910-20200 रुपये का पे बैंड और 1900 रुपये के ग्रेड पे का लाभ दिया जाएगा। साथ ही इन्हें 7,810 रुपये का प्रारंभिक वेतन भी दिया जाएगा।
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