चारधाम यात्रा (Chardham Yatra) में तीर्थयात्रियों की मौत का आंकड़ा अब 100 के पार पहुंच गया है। केदारनाथ धाम (Kedarnath Dham) में अब तक सबसे ज्यादा 50 यात्रियों की जान गई है। ऊंचाई वाले क्षेत्रों में ऑक्सीजन की कमी (Lack of Oxygen) और ठंड की वजह से अचानक हृदय गति रुकने (Heart Attack) के कारण यात्रियों की मौतें हो रही हैं।
बता दें कि इस बार चारधाम यात्रा का आगाज तीन मई से हुआ है। इन बीते 27 दिनों की यात्रा में अब तक चारों धामों में कुल 102 यात्रियों की मौत हो चुकी है। रविवार को ही तीन तीर्थयात्रियों ने दम तोड़ा है। मौतों को रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग (Health Department) की तरफ से 50 साल से ज्यादा उम्र के यात्रियों की हेल्थ स्क्रीनिंग (Health Screening) की जा रही है।
ऐसे में जिन यात्रियों को स्वास्थ्य संबंधी दिक्कतें हैं, उन यात्रियों को यात्रा ना करने की सलाह दी जा रही है। चारों धामों के यात्रा मार्गों पर स्थापित मेडिकल रिलीफ केंद्रों (Medical Relief Centers) पर अब तक 50 से ज्यादा उम्र के 5500 से अधिक लोगों की हेल्थ स्क्रीनिंग की जा चुकी है। जबकि 57 हजार यात्रियों की स्वास्थ्य केंद्रों में ओपीडी (OPD) भी की गई है।
इस पर स्वास्थ्य महानिदेशक, डॉ. शैलजा भट्ट ने बताया कि ऊंचाई वाले क्षेत्रों में ठंड से हाइपोथर्मिया (Hypothermia) और ऑक्सीजन की कमी से होने वाली स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां बढ़ रही हैं। चारों धामों में स्वास्थ्य सेवाएं के इंतजाम बेहतर हैं। मेडिकल रिलीफ केंद्रों और यात्रा मार्गों पर स्थापित स्वास्थ्य केंद्रों में पर्याप्त डॉक्टर, दवाइयां और ऑक्सीजन की सुविधा उपलब्ध है। यहां हर तीर्थयात्रियों के स्वास्थ्य की जांच करने के बाद ही उन्हें यात्रा करने की सलाह दी जा रही है। अब तक केदारनाथ में 50, बदरीनाथ में 19, यमुनोत्री में 26 और गंगोत्री में सात लोगों की जान जा चुकी हैं।
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